काफी मात्रा में होता विटामिन ए इस फल में, आज ही करे इसका सेवन
सीताफल ये फल भारत में सर्वत्र उगाया जाता है. यह फल वन में आपही आप उग जाता है सीताफल का पेड 4-5 मीटर उंचा होता है. इस पेड को जुलाई अगस्त में फल लगने शुरू होते है. सीताफल में 70 प्रतिशत आद्रता प्राप्त होती है. सीताफल के अंदर नियासिन, थायमिन, लोह, विटामिन बी 1, बी 2, सी, कैल्शियम, रीबोफ्लेबीन यह गुन पाये जाते है. सीताफल खाने में मधुर होता है, मिठा होता है, बलवर्धक होता है इस के अलावा वात, पित, कफकारक, शितविर्य, दहशामक गुणो से प्रसिध्द है.
विटामिन ए
सीताफल में काफी मात्रा में विटामिन ए की मात्रा ज्यादा है और यह त्वचा के लिये आवश्यक है त्वचा पर होने वाले निशाण, रुस्त त्वचा इससे बच सकते है. इस के अलावा शरीर में आने वाली दुर्बलता, थकान, मास पेशिया शिन होणा इनसभी समस्या से सीताफल खाने से लाभ मिलता है.
गर्भवती महिलाये सीताफल का सेवन जरूर करे सीताफल खाने से शिशु का दिमाग और इम्यून सिस्टम मजबूत बनती है. सीताफल के सेवन से मिसकेरीज नहीं होती सीताफल खाने से या उस का शरबत पिने से पेट की जलन ठीक होती है. इससे मां और बच्चे दोनो को लाभ मिलता है.
अगर किसी स्त्री या पुरुष के बालो में जूएं होते है. एैसे स्त्री और पुरुष को सीताफल के बिजो का बारीक चूर्ण बनाकर नारीयल के तेल में मिलाकर बारा घंटे बाद वह तेल रात्र को बालो को लगाये इस प्रयोग से बाल में हुये जूएं कंगी करणे पर सुबह मरे हुये नजर आयेगे.
सीताफल के अंदर मैग्निशियम का प्रमाण है. इसकी वजह से हार्ट अटैक से बचने की संभावना कम है. यह मैग्निशियम हृदय को आराम देता है रक्तचाप कम कर देता है. सीताफल में मैग्निशियम के अलावा पोटेशियम भी होता है. यह पोटेशियम रक्तचाप कंट्रोल करता है इस के अलावा डायबेटीज जैसे खतरनाक बिमारी को कम कर देता है इसलिये यह जंगली फल खाने से शरीर को अनेक फायदे मिलते है.