खबरदार! बच्चों की आंखों में गंदगी जाने से हो सकता है गंभीर नुकसान
जीवन शैली समाचार : छोटे बच्चे) आप लाएंगे काजल) आवेदन करने वाले पहले व्यक्ति होंगे। भारत में बच्चों को काजल लगाने का रिवाज है। क्योंकि काजल लगाने से बच्चों की आंखें खूबसूरत दिखती हैं। साथ ही काजल लगाने से बच्चों की आंखें भी स्वस्थ रहती हैं।
क्या आप जानते हैं कि कालिख लगाने से बच्चों की आंखों को भी गंभीर नुकसान हो सकता है। दरअसल कालिख बनाने में 50 फीसदी से ज्यादा लेड का इस्तेमाल होता है, जो बच्चे की आंखों के लिए काफी नुकसानदायक हो सकता है।
लेड सिर्फ आंखों को ही नहीं बल्कि किडनी, ब्रेन, बोन मैरो और शरीर के अन्य हिस्सों को भी प्रभावित करता है। आइए जानें कि आंखों पर काजल लगाने से शिशुओं को किन समस्याओं का सामना करना पड़ सकता है।
संक्रमण का खतरा
शिशु की त्वचा बहुत कोमल और संवेदनशील होती है। जरा सी लापरवाही भी शिशु में संक्रमण का कारण बन सकती है। ऐसे में जब उनकी आंखों पर उंगली से काजल लगाया जाता है तो संक्रमण का खतरा बढ़ जाता है।
कभी-कभी उंगली से काजल लगाने से भी बच्चे की आंखों में चोट लग सकती है। इतना ही नहीं कई बार नहाते समय बच्चों के मुंह या नाक में काजल के जाने का भी डर रहता है। मुंह में कालिख लगने से छोटे बच्चों को भी पेट की समस्या हो सकती है।
खुजली
कई बार हम बाजार के काजल का इस्तेमाल करते हैं, जिससे बच्चे की आंखों में खुजली हो सकती है। व्यावसायिक रूप से उपलब्ध मस्कारा में भी सीसा पाया जाता है, जो उनके मस्तिष्क के विकास में बाधा उत्पन्न कर सकता है। कभी-कभी बच्चे की आंखें लाल, खुजली और चिड़चिड़ी हो सकती हैं।
त्वचा संक्रमण का खतरा
कई बार बच्चे अपने हाथों से आंखों पर काजल लगाते हैं, जिससे उनके हाथों पर त्वचा में संक्रमण होने का खतरा रहता है। काजल को त्वचा पर लगाने से बच्चों में छाले, रैशेज और जलन हो सकती है।
दृष्टि प्रभावित हो सकती है
कई बार हम बच्चों पर बहुत ज्यादा जमी हुई मैल लगाते हैं। यह बच्चे की आंखों के बीच के क्षेत्र को नुकसान पहुंचा सकता है, जिसे कॉर्निया कहा जाता है। आंख का यह हिस्सा बेहद नाजुक होता है, काजल आंखों की रोशनी को प्रभावित कर सकता है।
बच्चों को आंखों से पानी आने की शिकायत
काजल लगाने के बाद बच्चों को आंखों में पानी आने की शिकायत भी हो सकती है। आंखों पर कालिख लगाने से एलर्जी हो सकती है, जिससे आंखों में खुजली हो सकती है। आंखों से पानी भी आ सकता है। कभी-कभी बच्चों की आंखों के कोनों में गंदगी जमा हो जाती है, जिससे बच्चों में संक्रमण का खतरा बढ़ सकता है।