महिलाएं महिलाओं का दर्द नहीं समझतीं, अब पहलवानों पर निशाना साध रही हैं पीटी उषा
भारतीय कुश्ती महासंघ के अध्यक्ष के खिलाफ प्रदर्शन कर रहे कार्यकर्ताओं ने अब दिग्गज एथलीट और ओलंपिक संघ के अध्यक्ष पीटी उषा को निशाने पर लिया है। अब पहलवानों के अनुशासन पर सवाल उठाने के लिए पीटी उषा निशाने पर आ गई हैं। बजरंग पुनिया ने कहा है कि उषा एक महिला होते हुए भी दूसरी महिला का दर्द नहीं समझती हैं। पिछले तीन महीनों से पहलवान यौन उत्पीड़न के मुद्दे पर WFI अध्यक्ष बृज भूषण शरण के खिलाफ जंतर-मंतर पर विरोध प्रदर्शन कर रहे हैं।
पुनिया ने साफ कर दिया है कि न्याय मिलने तक वह अपना विरोध जारी रखेंगी। उन्होंने कहा, ‘जब मुझे पीटी उषा मैडम के कमेंट के बारे में पता चला तो मुझे दुख हुआ क्योंकि हम उन्हें एक अच्छा एथलीट मानते हैं। एक महिला होने के नाते वह महिलाओं का दर्द नहीं समझ सकतीं। पिछले तीन महीने से हम न्याय का इंतजार कर रहे हैं और अब पीटी उषा उन्हें अनुशासनहीनता कह रही हैं। मुझे लगता है कि एक महिला के तौर पर भी वह खिलाड़ियों के मिजाज को नहीं समझ सकती हैं।
क्या कहा पीटी उषा ने
भारतीय ओलंपिक संघ की अध्यक्ष पीटी उषा ने कहा कि ‘पहलवानों को विरोध फिर से शुरू करने के बजाय आईओए से संपर्क करना चाहिए था। हमारा मानना है कि यौन उत्पीड़न की शिकायतों के लिए आईओए और एथलीट आयोग के भीतर एक समिति है। उन्हें सड़क पर जाने के बजाय हमारे पास आना चाहिए था, लेकिन वे आईओए में नहीं आए।