गुड़गांव अब गुरुग्राम बन गया
हरियाणा की सरकार ने बहुत से चिंतन एवम विचार विमर्श के बाद गुड़गांव का नाम बदलकर गुरुग्राम करने का निर्णय लिया हैं, गुड़गांव देश का एक महत्वपूर्ण कॉर्पोरेट हब माना जाता हैं. मनोहर लाल खट्टर ने स्पष्ट तौर पर कहा हैं यह फैसला जनता के द्वारा रखे गए प्रस्ताव के भीतर ही लिया गया हैं .
गुड़गांव हरियाणा प्रदेश में आता हैं जो कि दिल्ली से 32 किलोमीटर की दुरी पर हैं एवं चंडीगढ़ से 268 किलोमीटर की दुरी पर बसा हुआ हैं. 2011 की गणना के अनुसार गुड़गांव की आबादी 876,824 आंकी गई हैं. गुड़गांव भारत में तीसरा सबसे वित्तीय और औद्योगिक केंद्र माना जाता हैं.
- गुड़गाँव इतिहास :
गुड़गांव देश के विकास में एक अभिन्न स्थान हैं जिसका वर्तमान के साथ – साथ इतिहास भी रौचक हैं हरियाणा एक ऐसा एतिहासिक स्थान हैं जहाँ भगवत गीता का जन्म हुआ और जिसे देश का सीखने का केंद्र माना जाता हैं. भगवत गीता भारत का आदर्श माना जाता हैं जिसे देश में सर्वोपरि स्थान प्राप्त हैं.
गुड़गांव पर सबसे अधिक हिन्दू शासको जाट एवम राजपूतो का शासन रहा हैं. और आज भी इस क्षेत्र में जाट जाति अधिक देखी जाती हैं. वर्तमान समय में कई परिस्थितियाँ बदलने के कारण इस एतिहासिक स्थान का नाम गुरुग्राम से गुड़गांव में बदल गया जिसे पुनः गुरुग्राम करने की घोषणा हरियाणा सरकार ने की हैं.
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Gurgoan’s name changed to Gurugram गुडगाँव नाम इतिहास :
गुड़गांव मुख्यतः गुरु द्रोण के समय से प्रचलित स्थान हैं, महाभारत काल में गुरु द्रोण एक सर्वश्रेष्ठ गुरु के रूप में जाने जाते थे इसलिए गुड़गांव को शिक्षा का केंद्र माना जाता हैं . इसका एतिहासिक नाम गुरुग्राम था. इसी एतिहासिक तथ्य एवम गौरवान्वित इतिहास के कारण गुड़गांव का नाम गुड़गांव से बदलकर पुनः गुरुग्राम रखने की मांग की गई हैं .
सरकार ने गुड़गाँव के साथ- साथ मेवात जिले का नाम बदलकर नुह रखने का फैसला लिया हैं. मेवट एक सांकृतिक एवम भौगोलिक स्थान हैं यह उत्तर प्रदेश और राजिस्थान के स्थानों को भी जोड़ता हैं.