शकरकंद है गुणों का खजाना, फायदे सुनकर चौंक जायेंगे आप
सर्दियों में सबसे अधिक ऊर्जा और गर्माहट शकरकंद का सेवन से मिलती है। दिसंबर माह में ताजा शक्करकंद जिसे देसी भाषा में शक्करकंदी कहा जाता है आसानी से मार्केट का भ्रमण करते समय खरीदी जा सकती है।
अभी कड़ाके की ठंड में शक्करकंद खाना अधिक उचित है नए स्वाद वाली अल्पकालिक शक्करकंद कुछ हद तक सर्दी के प्रभाव को विफल कर ठंड से बचाती है।
आलू की भांति फूली हुई और स्वाद में मीठी स्वीटपोटैटो पोटैशियम, विटामिन्स और सोडियम आदि का वो भंडार है जो सर्दियों में चंद दिनों के लिए उपलब्ध होता है। शकरकंदी बेल की जड़ में बनती है जिसे खुदाई करके निकाला जाता है।
शकरकंद में मौजूद विटामिन, पोलीफेनॉलिक्स और एंथोसायनिन के कारण इसके पत्तों की सब्जी बनाकर खाने से ब्लड प्रेशर को कम करने में मदद मिलती है साथ ही यह चिंता और तनाव को दूर करता है।
आयुर्वेद में जड़, कंद-मूल खाना अधिक फायदेमंद बताया गया है वैसे भी शकरकंद जड़ का भाग है जिसे तेज गर्म राख द्वारा पकाकर खाने योग्य बनाया जाता है। शकरकंदी ठंडी होने के उपरांत सीमित मात्रा में खाएं क्योंकि यह शरीर में गर्मी भी पैदा करती है। जैसा की चित्र में देख पा रहें है की इसका रंग हल्का भूरा और लाल आभा वाला होता है जिसका सेवन हलवा बनाकर उपवास में भी कर सकते है।