दवाई फेल है इस जूस के सामने किन-किन रोगों में उपयोगी है?
महिला ने गेंहू जवारे से होने वाले फायदे के बारे में एक प्रयोग करके हम सभी मानव जाती के लिये एक वरदान दिया है. उनका कहना है की अगर मानवा जाती को निरोगो जीवन जगणे की आस है तो गेंहू के जवारे का रस सेवन करे ये वरदान से कम नही.
इन्सान के इतने सारे रोगो के अलावा 350 रोगो पर यह गेंहू के जवारे का असर होता है. मगर हम इन्सान को कुच्छ होने वाले रोगो के बारे में जानकारी दे रहे है. कैन्सर, गठीया, पेट गैस, हृद्यरोग, पुराणी एलर्जी, आंखो की रोशनी, खून बढाये, लिवर, डायबेटी, लकवा, पायरिया, जोडो में सुजन बालो का झडना, बाल सफेद होणा, दमा, पाचनक्रिया, मूत्राशय की पथरी और जीवन मरण के रोग की संजीवनी बुटी.
एक प्रयोग से पत्ता चला है की गेंहू के जवारे से विटामिन, बी12 और एंटीऑक्सीडेंट, अमीनो अम्ल पाये जाते है. इनके कारण शरीर में पैदा होने वाले जहरीले पदार्थो को गेंहू के जवारे मुक्त करते है. इसलिये गेंहू के जवारे को अमृत का दर्जा दिया गया है. एशिया खंड, युरोप और अमेरिका यहा पर यह जवारे का प्रयोग इन्सान नियमित रूप से कर रहा है.
गेंहू के जवारे का रस पिणे का एक विषेश पद्धत है गेंहू के जवार के रस को एक ही घुट में न पिये एक एक घुट पिये एैसा करणे से शरीर की पाचनक्रिया मजबूत और अच्छी बनती है. गेंहू के जवारे इन्सान के लिये एक संजीवनी से कम नही उपर दिये हुये रोगो के साथ 350 रोगो में इस का सीधा असर होता है. इसलिये गेंहू के जवारे का रस सेवन करना मानव शरीर के लिये एक वरदान से कम नही और संजीवनी से बढकर नही.