जान ले ये बातें देशी घी है इन पांच बीमारियों का काल, फायदे जानकर आज ही से लगेंगे खाने
एक बड़े कटोरे में 100 ग्राम शुद्ध घी लेकर इसमें पानी डालकर हलके हाथ से फेंटकर लगाकर पानी फेंक दें। यह एक बार घी धोना हुआ। ऐसे 100 बार पानी से घी को धोकर कटोरे को थोड़ी देर के लिए झुकाकर रख दें, ताकि थोड़ा बहुत पानी बच गया हो तो वह भी निकल जाए। अब इसमें थोड़ा सा कपूर डालकर मिला दें और चौड़े मुंह की शीशी में भर दें। यह घी, खुजली, फोड़े फुंसी आदि चर्म रोगों की उत्तम दवा है।
रात को सोते समय एक गिलास मीठे दूध में एक चम्मच घी डालकर पीने से शरीर की खुश्की और दुर्बलता दूर होती है, नींद गहरी आती है, हड्डी बलवान होती है और सुबह शौच साफ आता है। शीतकाल के दिनों में यह प्रयोग करने से शरीर में बलवीर्य बढ़ता है और दुबलापन दूर होता हैघी हड्डियां मजबूत करने में सहायक होता है। जिन लोगों को हड्डियों से संबंधित समस्या रहती है वे लोग प्रतिदिन दाल के साथ घी का प्रयोग करें क्योंकि दाल में प्रोटीन होता है
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और दाल में दो चम्मच घी डालने इससे आपकी हड्डियों की कमजोरी दूर होगी। जिन लोगों को घुटने से आवाज आती है वह आवाज आनी भी कुछ हद तक कम हो जाती है। हड्डियों से सम्बंधित किसी अन्य समस्या के लिए आप कैल्सियम का सेवन भी कर सकते है। अगर आपको को दिल से सम्बंधित बीमारी है तो घी के सेवन से पहले एक बार डॉ से सलाह जरूर ले लेनी चाहिए।