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सिरके के फायदे और सिरका बनाने का तरीका, जल्दी जानिए

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सिरका या चुक्र (Vinagar) भोजन का भाग है जो पाश्चात्य, यूरोपीय एवं एशियायी देशों के भोजन में प्राचीन काल से ही प्रयुक्त होता आया है।

किसी भी शर्करायुक्त विलयन के मदिराकरण के अनंतर ऐसीटिक (अम्लीयامیر) किण्वन (acetic fermentation) से सिरका या चुक्र (Vinegar, विनिगर) प्राप्त होता है। इसका मूल भाग ऐसीटिक अम्ल का तनु विलयन है पर साथ ही यह जिन पदार्थों से बनाया जाता है उनके लवण तथा अन्य तत्व भी उसमें रहते हैं। प्रायः भोजन के लिये प्रयुक्त सिरके में ४% से ८% तक एसेटिक अम्ल होता है। विशेष प्रकार का सिरका उसके नाम से जाना जाता है, जैसे मदिरा सिरका (Wine Vinegar), मॉल्ट (यव्य या यवरस) सिरका (Malt Vinegar), अंगूर का सिरका, सेब का सिरका (Cider Vinegar), जामुन का सिरका और कृत्रिम सिरका इत्यादि।

आमतौर पर सिरके का इस्तेमाल खाने का स्वाद बढ़ाने के लिए ही किया जाता है लेकिन  सिरका किसी औषधि से कम नहीं है.

अमूमन घरों में काले सिरके का इस्तेमाल किया जाता है पर स्वास्थ्य के लिहाज से सफेद सिरका और सेब के रस से बना सिरका बहुत फायदेमंद होता है. सिरके का इस्तेमाल रूप निखारने से लेकर कई छोटी-बड़ी बीमारियों के इलाज में किया जा सकता है.

गन्ने का सिरका आवश्यक सामग्री । Ingredients

गन्ना – 3 किलो
सूखे मिर्च – 3

सहायक सामग्री

सूती कपड़ा
मिट्टी की हाँडी – 1
कांच की बोतल – 1

गन्ने का सिरका बनाने का तरीका

  1. 3 किलो गन्ने लेकर उसका रस निकाल लीजिए।
  2. गन्ने के रस को मिट्टी की हांडी में भर दीजिए।
  3. इस हाँडी को किसी साफ सूती कपड़े से बांधकर रोज़ तेज़ धूप में रखें।
  4. इस प्रक्रिया को लगभग 1 महीने तक दोहराएं।
  5. इसके बाद इस सिरके को छानकर एक कांच की बोतल में भर दें।
  6. इसमें 3 सूखी लाल मिर्च डालकर बोतल को बंद कर दें।

उपयोग

  •  गन्ने के रस को आम के अचार में डालकर उपयोग करें।
  • गन्ने के रस को सलाद या दाल फ़्राई करने के लिए भी उपयोग कर सकते हैं।
  • 1 गिलास पानी में 2 चम्मच सिरके के सेवन से स्वास्थ्य लाभ प्राप्त होता है।

जामुन का सिरका

जामुन का सिरका बनाने की विधि-

काले पके हुए जामुन साफ धोकर पोंछ लें। इन्हें मिट्टी के बर्तन में नमक मिलाकर मुँह साफ कपड़े से बाँधकर धूप में रख दें। एक सप्ताह धूप में रखने के पश्चात इसको साफ कपड़े से छानकर रस को काँच की बोतलों में भरकर रख लें। यह सिरका तैयार है।

मूली, प्याज, गाजर, शलजम, मिर्च आदि के टुकड़े भी इस सिरके में डालकर इसका उपयोग सलाद पर आसानी से किया जा सकता है।

सेब का सिरका बनाने की विधि

एक चौड़े मुंह वाला बर्तन लें। इसमें सेब के छोटे-छोटे टुकड़े काटकर डाल दें। अब इसे खुला छोड़ दे। कुछ समय बाद सेब के टुकड़े लाल होने शुरू हो जाएंगे। अब जार के मुंह तक पानी भर दें। अब इसे आप कुछ दिन के लिए ऐसे ही छोड़ दें। कुछ दिन बाद जार के ऊपर सूती कपड़ा बांधकर अंधेरे स्थान पर रख दें। कुछ-कुछ दिन पर इसकी देखभाल करते रहे। करीब एक महीने बाद आप सूती कपड़े की मदद से इस मिश्रण को एक अलग बर्तन में छान लें। सेब के गले हुए टुकड़ों को अलग फेंक दे। बाकी बचा हुआ मिश्रण सेब के सिरका होगा।

सिरके के फायदे:

1. बेहतरीन कंडिशनर 
सिरके का इस्तेमाल कंडिशनर के रूप में किया जा सकता है.

एक कप पानी में आधा चम्मच सिरका मिला लीजिए और इससे बालों की मसाज कीजिए.

इस उपाय से आपके बाल खिल उठेंगे और उनमें एक नई चमक आ जाएगी.

2. हिचकी रोकने के लिए
अगर आपको लगातार हिचकियां आ रही है तो एक चम्मच सिरका ले लीजिए.

कुछ ही समय में आपकी हिचकी बंद हो जाएगी.

3. गले की खराश को दूर करने के लिए
अगर आपके गले में खराश हो गई है तो एक कप गर्म पानी में एक चम्मच सेब के रस वाला सिरका मिला दीजिए.

इससे गार्गल करें. आपके गले की खराश दूर हो जाएगी.

4. मांस-पेशियों की तकलीफ में राहत के लिए
बहुत अधिक शारीरिक श्रम करने के कारण मांस-पेशियों में दर्द की शिकायत हो जाती है. सिरके के इस्तेमाल से आप मांस-पेशि‍यों के दर्द से राहत पा सकते हैं. इससे मसाज करना फायदेमंद होता है.

5. मोटापा कम करने के लिए
अगर आप वजन घटाने की कोशिश कर रहे हैं तो चिकित्सक की सलाह लेकर रोजाना एक निश्च‍ित मात्रा में सिरके का सेवन कर सकते हैं. इससे कुछ ही दिनों में आपको फर्क दिखने लग जाएगा.

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